डोनाल्ड ट्रंप ने अमेरिकी राष्ट्रपति पद की शपथ लेने के साथ ही अपने कड़े फैसलों की झलक दे दी है। ट्रंप ने चीन, कनाडा और मेक्सिको जैसे देशों पर सख्त रुख अपनाते हुए अपनी प्राथमिकताओं का संकेत दे दिया। चीन को टिकटॉक (TikTok) के बहाने झटका देते हुए, कनाडा और मेक्सिको पर भारी टैरिफ लगाने की योजना बनाई गई है।
चीन पर ट्रंप का पहला वार
राष्ट्रपति पद की शपथ लेते ही ट्रंप एक्शन में दिखे और उनके निशाने पर सबसे पहले चीन आया। ट्रंप ने कहा कि चीन ने अमेरिका का लंबे समय तक फायदा उठाया है, लेकिन अब ऐसा नहीं होगा। उन्होंने टिकटॉक के माध्यम से चीन पर शिकंजा कसने और कड़े टैरिफ लगाने की चेतावनी दी। ट्रंप का कहना है, “चीन से हम कम चार्ज करते हैं, लेकिन अब हम भारी टैरिफ लगाकर उसे सबक सिखाएंगे।”
कनाडा-मेक्सिको पर टैरिफ बम फूटने की तैयारी
चीन के बाद ट्रंप ने कनाडा और मेक्सिको को भी आड़े हाथों लिया। उन्होंने कहा कि अमेरिका की तरक्की के लिए इन दोनों देशों पर 25% टैरिफ लगाने की जरूरत है। ओवल ऑफिस में अपना विजन पेश करते हुए उन्होंने कहा कि यह फैसला फरवरी से लागू हो सकता है। इसके तहत कनाडा और मेक्सिको से अमेरिका आने वाले सामान पर 25% अतिरिक्त टैक्स देना होगा।
भारतीय बाजार में हलचल
ट्रंप के इन कड़े कदमों का असर वैश्विक बाजारों के साथ-साथ भारतीय शेयर बाजार पर भी दिखा। मंगलवार को जहां शपथ के पहले सेंसेक्स (Sensex) और निफ्टी (Nifty) में तेजी देखी जा रही थी, वहीं ट्रंप के बयानों के बाद ये गिरावट का सामना करने लगे।
ट्रंप का स्पष्ट संदेश
डोनाल्ड ट्रंप ने साफ कर दिया है कि उनका प्रशासन अमेरिका के हितों को सर्वोपरि रखेगा और किसी भी देश को फायदा उठाने नहीं देगा। चाहे वह चीन हो, कनाडा, या मेक्सिको, ट्रंप की कड़ी नीतियां उनके दूसरे कार्यकाल की शुरुआत से ही चर्चा का विषय बन गई हैं।
क्या होगा आगे?
इन फैसलों से वैश्विक व्यापार पर असर पड़ सकता है, खासकर उन देशों पर जो अमेरिकी बाजार पर निर्भर हैं। भारतीय निवेशकों और व्यापारियों को भी इस घटनाक्रम पर नज़र बनाए रखने की आवश्यकता है।